Movement in Dadamandi

डाडामण्डी में आन्दोलन

February 28, 2019

डाडामण्डी में आन्दोलन (Movement in Dadamandi)

उदयपुर और गुजडू के बाद भारत छोड़ो आन्दोलन डाडामण्डी क्षेत्र में प्रारम्भ हुआ। डाडामण्डी क्षेत्र के अन्तर्गत ही मिडिल स्कूल मटियाली के प्रधानाचार्य उमराव सिंह रावत ने आन्दोलन को तीव्र करने में भरपूर सहयोग दिया। उन्होंने क्रांतिकारी साहित्य को जन साधारण तथा छात्रों में वितरित करवाकर उन्हें आन्दोलन के लिए प्रेरित किया।

इसी आधार पर छात्रों ने दुगड्डा से लेकर द्वारीखाल तक के दूरसंचार के साधनो को क्षतिग्रस्त करते हुए सड़कों के किनारे लगे मील के पत्थर उखाड़ दिये। प्रशासन ने जो 42 आन्दोलनकारियों की सूची बनायी थी, उन्हें 8 अक्तूबर 1942 को बन्दी बना लिया। इनमें आदित्यराम दुतपुड़ी व मायाराम बड़थ्वाल भी सम्मिलित थे। प्रशासन का उद्देश्य आन्दोलन को किसी तरह दमन करना और आन्दोलनकारियों को अपने नियन्त्रण में करना था। प्रशासन ने इस आरम्भिक सफलता के पश्चात् उमराव सिंह रावत की बढ़ती हुयी गतिविधियों के कारण उन्हें गिरफ्तार करके राजद्रोह का आरोप लगाकर 4 वर्ष की सजा सुनायी। इन गिरफ्तारियों के बाद आन्दोलन शिथिल पड़ गया और उसका प्रभाव समाप्त होने लगा।

Read Also :

 

SOCIAL PAGE

E-Book UK Polic

Uttarakhand Police Exam Paper

CATEGORIES

error: Content is protected !!
Go toTop