मैती आन्दोलन (Maiti Andolan) उत्तराखण्ड में मैत का अर्थ होता है मायका, और मैती का अर्थ होता है, मायके वाले। मैती आन्दोलन (Maiti Andolan) में पहाड़ की नारी का उसके जल, जंगल और जमीन से जुड़ाव को दर्शाया गया। क्योंकि एक अविवाहित लड़की के लिये उसके गांव के पेड़ भी मैती ही होते हैं, इसलिये…
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उत्तराखंड में भू-कानून की मांग (Demand for Land Law in Uttarakhand)
उत्तराखंड में हमेशा चुनाव से पूर्व सत्ताधारी सरकार व विपक्ष की पार्टी लोगों को लुभाने के लिए किसी न किसी मुद्दे को जनता के सामने प्रस्तुत करती है और चुनाव के बाद वह मुद्दा कहाँ चला जाता है पता नहीं। लेकिन इस बार का मुद्दा कुछ अलग है, क्योकि यह मुद्दा किसी भी राजनीति पार्टी…
उत्तराखंड में भूमि बन्दोबस्त (Land Settlement in Uttarakhand)
उत्तराखंड में भूमि बन्दोबस्त (Land Settlement in Uttarakhand) क्षेत्र भूमि बन्दोबस्त सम्बंधित अधिकारी भूमि बन्दोबस्त का वर्ष कुमाऊँ पहला गार्डनर 1815-16 गढ़वाल पहला ट्रेल 1816 टिहरी गढ़वाल पहला सुदर्शनशाह 1823 कुमाऊँ / गढ़वाल दूसरा ट्रेल 1817 टिहरी गढ़वाल दूसरा भवानी शाह 1860 कुमाऊँ / गढ़वाल तीसरा ट्रेल 1818 टिहरी गढ़वाल तीसरा प्रताप शाह 1873 कुमाऊँ…
पंवार वंश की प्रमुख शब्दावलियाँ
पंवार वंश की प्रमुख शब्दावलियाँ इस से पहले हमें यहाँ पर पंवार वंश का इतिहास, पंवार वंश की वंशावली के बारे में देख चुकें है। इस लेख में हम उत्तराखंड के पंवार वंश में प्रयुक्त होने वाली प्रमुख शब्दावलियाँ के बारे में जानेंगे । 〉 पंवार वंश में युवराज को कहा जाता था – टीका…
गोरखा शासन के कुछ महत्वपूर्ण कर
गोरखा शासन के कुछ महत्वपूर्ण कर (Some Important Taxes of Gorkha Rule) 1790 ई0 में गोरखों ने जब कुमाऊँ पर आक्रमण कर अपना आधिपत्य स्थापित किया था। 1804 ई0 में गोरखों ने गढ़वाल पर आक्रमण कर अपने अधीन कर लिया। सम्पूर्ण उत्तराखंड में गोरखों ने यहाँ की जनता से कई प्रकार के कर वसूले जो…
उत्तराखंड में चंद शासकों द्वारा लगाए गए कर
उत्तराखंड में चंद शासकों द्वारा लगाए गए कर (Tax System of Chand Rulers in Uttarakhand) उत्तराखंड के कुमाऊँ क्षेत्र में चंद शासकों का शासन था। जिन्होंने सम्पूर्ण कुमाऊँ क्षेत्र को एक सूत्र में बाधने का प्रयास किया और सफल भी रहे, लेकिन धीरे-धीरे चंद शासकों की पकड़ कुमाऊँ क्षेत्र में कमजोर होने लगी जिसका फायदा…
उत्तराखंड राज्य निर्माण आंदोलन के प्रमुख घटनाक्रम
उत्तराखंड पृथक राज्य निर्माण आंदोलन के प्रमुख घटनाक्रम 5 – 6 मई 1938 – श्रीनगर (गढ़वाल) में राष्ट्रीय कांग्रेस का विशेष अधिवेशन (अध्यक्ष – जवाहर लाल नेहरू) इस अधिवेशन में पहली बार पृथक उत्तराखंड राज्य की मांग की गई थी। 1938 – पृथक राज्य हेतु गढ़देश सेवा संघ (हिमालय सेवा संघ) की स्थापना दिल्ली में…
पर्यावरण गाँधी ‘सुन्दरलाल बहुगुणा’ की जीवनी
सुन्दरलाल बहुगुणा की जीवनी (Biography of Sundarlal Bahuguna) सुन्दरलाल बहुगुणा (Sundarlal Bahuguna) जन्म 09 जनवरी, 1927 जन्म स्थान मरोडा, टिहरी गढ़वाल, उत्तराखण्ड मृत्यु 21 मई, 2021 माता श्रीमती पूर्णादेवी पिता श्री अम्बादत्त बहुगुणा पत्नी श्रीमती विमला नौटियाल उपनाम चिपको आंदोलन के प्रणेता, पर्यावरण गाँधी, वृक्षमित्र सुन्दरलाल बहुगुणा जी (Sundarlal Bahuguna) का जन्म 09 जनवरी, 1927…
कत्यूरी शासकों की प्रशासनिक व्यवस्था
कत्यूरी शासकों की प्रशासनिक व्यवस्था (Administrative System of Katyuri Rulers) कत्यूरी शासकों की प्रशासनिक व्यवस्था का अध्ययन करने से ज्ञात होता है कि राजा सर्वोच्च शासक, देवतुल्य एवं केन्द्रीय प्रशासन का सर्वोच्च अधिकारी था। मंत्रिपरिषद तथा समस्त राजकीय पदाधिकारियों की नियुक्ति राजा द्वारा होती थी। राजा मंत्रिपरिषद की सहायता से शासन व्यवस्था का संचालन करता…
वीर चन्द्रसिंह गढ़वाली की जीवनी (Biography of Veer Chandra Singh Garhwali)
वीर चन्द्रसिंह गढ़वाली (Veer Chandra Singh Garhwali) वीर चन्द्रसिंह गढ़वाली (Veer Chandra Singh Garhwali) जन्म 25 दिसम्बर 1891 जन्म स्थान रोणैसेर ग्राम (गढ़वाल) पिता का नाम जथली सिंह मृत्यु 1 अक्टूबर, 1979 11 सितम्बर को लैंसडौन छावनी में 2/36 गढ़वाल राइफिल्स में भर्ती हो गये। पेशावर कांड के समय चन्द्रसिंह 2/18 गढ़वाल राइफिल्स में हवलदार…