उत्तराखंड लोकसेवा आयोग व अधीनस्थ सेवा चयन आयोग द्वारा आयोजित की जानेवाली आगामी परीक्षाओं (UKPSC/ UKSSSC) को मध्यनजर रखते हुए Exam Pillar आपके लिए Daily MCQs प्रोग्राम लेकर आया है। इस प्रोग्राम के माध्यम से अभ्यर्थियों को उत्तराखंड लोकसेवा आयोग व अधीनस्थ सेवा चयन आयोग के परीक्षाओं के प्रारूप के अनुरूप वस्तुनिष्ठ अध्ययन सामग्री उपलब्ध कराये जायेंगे।
Daily UKPSC / UKSSSC MCQs : उत्तराखंड (Uttarakhand)
05 December, 2025
| Read This UKPSC / UKSSSC Daily MCQ – (Uttarakhand) in English Language |
Q1. रामायण काल में कुमाऊँ क्षेत्र को किस नाम से जाना जाता था?
(A) इलावर्त
(B) उत्तर कौशल
(C) कुर्माचल
(D) हिमवंत
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व्याख्या: रामायण काल में कुमाऊँ क्षेत्र को उत्तर कौशल कहा जाता था। यह क्षेत्र भगवान राम के वंशजों के प्रभाव क्षेत्र में माना जाता है और इसकी सांस्कृतिक परंपरा अयोध्या से जुड़ी हुई थी।
Q2. कुणिन्द शासन का प्रारंभिक काल किस शासक साम्राज्य की अधीनता में रहा था?
(A) शुंग साम्राज्य
(B) मौर्य साम्राज्य
(C) सातवाहन साम्राज्य
(D) कुषाण साम्राज्य
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Explanation: प्रारंभिक अवस्था में कुणिन्द मौर्य साम्राज्य के अधीन थे, जो यह दर्शाता है कि मौर्य शासन के विघटन के बाद उन्होंने स्वतंत्र सत्ता स्थापित की। अन्य विकल्प जैसे शुंग, सातवाहन या कुषाण उस समय उत्तर भारत के अन्य भागों में सक्रिय थे, परंतु उत्तराखण्ड में उनकी प्रत्यक्ष राजनीतिक पकड़ का प्रमाण नहीं मिलता।
Q3. कुणिन्दों का शासन काल लगभग किस अवधि में रहा था?
(A) 500 ई.पू. से 100 ई.पू. तक
(B) 300 ई.पू. से 200 ई.पू. तक
(C) 200 ई.पू. से 300 ई. तक
(D) 100 ई. से 400 ई. तक
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Explanation: इतिहासकार यशवंत कठौच के अनुसार कुणिन्दों का शासन लगभग 200 ई.पू. से 300 ई. तक रहा। यह काल उत्तर भारत में गणराज्यों और स्थानीय राजवंशों के उदय का था। अन्य विकल्प या तो इस अवधि से पहले या बाद के काल से संबंधित हैं, जो कुणिन्द शासन की ऐतिहासिक सीमा से मेल नहीं खाते।
Q4. कुणिन्द वंश का सबसे शक्तिशाली शासक कौन था?
(A) सुबाहु
(B) अमोघभूति
(C) शत्रुघ्न
(D) कलकूट
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Explanation: अमोघभूति को कुणिन्द वंश का सर्वाधिक प्रभावशाली शासक माना गया है। उसकी रजत और ताम्र मुद्राओं की व्यापक उपलब्धता से यह स्पष्ट होता है कि उसके शासन का विस्तार पश्चिम में व्यास नदी से लेकर दक्षिण में बेहत तक था। अन्य विकल्पों में सुबाहु महाभारत में वर्णित कुणिन्द शासक है, जबकि शत्रुघ्न और कलकूट राजधानी से जुड़े नाम हैं, न कि शासक।
Q5. अमोघभूति की मुद्राओं में कौन सी भाषा का प्रयोग किया गया था?
(A) संस्कृत
(B) पालि
(C) प्राकृत
(D) अपभ्रंश
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Explanation: अमोघभूति की मुद्राओं पर प्राकृत भाषा में “राज्ञः कुणिन्दरा अमोघभूतिस महरजस” अंकित पाया गया है। प्राकृत भाषा उस समय लोकभाषा के रूप में प्रचलित थी, जिससे मुद्राएं आम जनता तक संदेश पहुंचा सकें। संस्कृत का प्रयोग प्रायः धार्मिक या विद्वान वर्ग में होता था, जबकि पालि और अपभ्रंश बाद के काल में अधिक प्रचलित हुए।
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