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NCERT पुस्तकों में बदलाव: भारतीय संस्कृति का समावेश

The Indian Express द्वारा प्रकाशित एक लेख में, NCERT की पुस्तकों में किए गए बदलावों के बारे में चर्चा की गई है, जिसका उद्देश्य भारतीय संस्कृति को छात्रों के पाठ्यक्रम में सम्मिलित करना है। इस लेख का शीर्षक “Changes to NCERT books bring Indic culture to students of Bharat” है। यह लेख बताता है कि कैसे ये बदलाव भारतीय शिक्षा प्रणाली को अधिक राष्ट्रीय और सांस्कृतिक रूप से प्रासंगिक बना रहे हैं। इस लेख में, हम इन्हीं परिवर्तनों पर विस्तृत चर्चा करेंगे।

NCERT पुस्तकों में बदलाव: भारतीय संस्कृति का छात्रों के जीवन में समावेश
(Changes to NCERT books bring Indic culture to students of Bharat)

भारतीय संस्कृति का समावेश

NCERT ने अपने पाठ्यक्रम में भारतीय संस्कृति के विभिन्न पहलुओं को शामिल किया है। छात्रों को अब प्राचीन भारतीय दर्शन, विज्ञान, कला, और साहित्य के बारे में पढ़ने का अवसर मिलेगा। उदाहरण के लिए, आर्यभट्ट, भास्कराचार्य, और अन्य प्राचीन वैज्ञानिकों और गणितज्ञों के योगदान को पाठ्यक्रम में जोड़ा गया है। यह न केवल छात्रों को वैज्ञानिक दृष्टिकोण से शिक्षित करेगा, बल्कि भारतीय इतिहास के प्रति उनके गर्व को भी बढ़ाएगा।

इतिहास का पुनर्लेखन

इतिहास के पाठ्यक्रम में भी महत्वपूर्ण बदलाव किए गए हैं। अब छात्रों को वेदों, उपनिषदों, और महाभारत-रामायण जैसे प्राचीन ग्रंथों का अध्ययन करने का अवसर मिलेगा। इसके साथ ही, भारतीय इतिहास के विभिन्न चरणों को संतुलित तरीके से प्रस्तुत किया जाएगा। राजपूत, मराठा, और दक्षिण भारतीय राजाओं के शौर्य और योगदान को भी पाठ्यक्रम में शामिल किया गया है। इस प्रकार, छात्रों को भारत के गौरवशाली अतीत के बारे में विस्तृत जानकारी प्राप्त होगी।

भाषा और साहित्य

भारतीय भाषाओं और साहित्य को पाठ्यक्रम में विशेष स्थान दिया गया है। हिंदी, संस्कृत, तमिल, तेलुगु, बांग्ला और अन्य क्षेत्रीय भाषाओं के महत्वपूर्ण साहित्यिक कृतियों को शामिल किया गया है। इससे न केवल भाषाई विविधता को बढ़ावा मिलेगा, बल्कि छात्रों में विभिन्न भाषाओं के प्रति प्रेम और सम्मान भी बढ़ेगा। यह कदम छात्रों की भाषाई कौशल को सुधारने और उन्हें भारतीय साहित्य के धरोहर से जोड़ने में मदद करेगा।

नैतिक शिक्षा और मूल्य

NCERT ने नैतिक शिक्षा और मूल्यों पर भी जोर दिया है। भारतीय दर्शन और उपदेशों से प्रेरित नैतिक कहानियों और शिक्षाओं को पाठ्यक्रम में शामिल किया गया है। यह कहानियाँ छात्रों को सत्य, अहिंसा, परोपकार, और समानता जैसे मूल्यों के प्रति जागरूक बनाएंगी। इसके अलावा, योग और ध्यान के अभ्यास को भी पाठ्यक्रम में शामिल किया गया है, जिससे छात्रों के मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य में सुधार हो सके।

समकालीन दृष्टिकोण

NCERT के नए पाठ्यक्रम में भारतीय संस्कृति के समकालीन पहलुओं को भी महत्व दिया गया है। छात्रों को भारतीय कला, संगीत, नृत्य और थिएटर के आधुनिक रूपों के बारे में सिखाया जाएगा। इसके साथ ही, भारतीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी के हालिया उपलब्धियों को भी पाठ्यक्रम में शामिल किया गया है। यह छात्रों को वर्तमान समय की प्रासंगिकता और भारतीय संस्कृति के सतत विकास के बारे में जागरूक बनाएगा।

निष्कर्ष

NCERT द्वारा किए गए ये बदलाव न केवल भारतीय संस्कृति के प्रति छात्रों की समझ और सम्मान को बढ़ावा देंगे, बल्कि उन्हें एक वैश्विक नागरिक बनने में भी मदद करेंगे। भारतीय संस्कृति का अध्ययन न केवल इतिहास और परंपराओं को समझने का एक तरीका है, बल्कि यह एक ऐसा मार्ग भी है जो छात्रों को नैतिकता, मूल्य, और आत्म-सम्मान के साथ जीने की प्रेरणा देता है। यह कदम भारतीय शिक्षा प्रणाली में एक महत्वपूर्ण परिवर्तन है जो भविष्य की पीढ़ियों को अपनी जड़ों से जोड़ने और गर्वित भारतीय नागरिक बनाने की दिशा में एक सशक्त प्रयास है।

 

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