Daily Indian Express Editorial - Why NEET needs to be fixed — not discarded

NEET 2024 परीक्षा संकट : विवाद और समाधान

NEET को समाप्त नहीं, बल्कि सुधारने की आवश्यकता क्यों है
(Why NEET needs to be fixed — not discarded)

Indian Express में प्रकाशित लेख “Why NEET needs to be fixed — not discarded” में यह बताया गया है कि NEET परीक्षा को समाप्त करने की बजाय उसमें सुधार की आवश्यकता है। इस लेख में NEET की मौजूदा चुनौतियों और उसमें सुधार के सुझावों पर चर्चा की गई है।

NEET परीक्षा: वर्तमान चुनौतियाँ 

NEET (National Eligibility cum Entrance Test) भारत में मेडिकल और डेंटल कॉलेजों में प्रवेश के लिए एक महत्वपूर्ण परीक्षा है। हालांकि, हाल के वर्षों में इस परीक्षा में कई चुनौतियाँ देखी गई हैं, जैसे अनुचित साधनों का उपयोग, प्रश्न पत्र लीक, और उम्मीदवारों पर अत्यधिक मानसिक दबाव। ये समस्याएँ छात्रों और उनके अभिभावकों में निराशा और अविश्वास पैदा कर रही हैं।

  1. परीक्षा में अनुचित साधनों के उपयोग के आरोप: – कई उम्मीदवारों ने NEET 2024 परीक्षा में अनुचित साधनों के उपयोग का दावा किया है, लेकिन इसके प्रमाण सीमित हैं।
  2. परीक्षा प्रक्रिया और सुधार की आवश्यकता: – परीक्षा OMR शीट्स और विशिष्ट प्रश्न पुस्तिकाओं के साथ आयोजित की गई थी। सरकार ने भविष्य में सुधार के लिए एक उच्च स्तरीय समिति का गठन किया है।
  3. अन्य समाधानों की तलाश: – कुछ विशेषज्ञों ने ऑनलाइन परीक्षाओं का सुझाव दिया है, लेकिन यह भारतीय छात्रों की सुविधा और प्रौद्योगिकी तक पहुंच के संदर्भ में व्यावहारिक नहीं हो सकता।
  4. प्रवेश परीक्षा शासन में सुधार: – परीक्षा संचालन में सुधार के लिए सरकार ने कदम उठाए हैं, जिसमें राज्य समन्वयकों की पहचान और जिला प्राधिकरणों को जिम्मेदारी सौंपना शामिल है।

परीक्षा में अनुचित साधनों के उपयोग के आरोप और उनकी वास्तविकता

NEET 2024 परीक्षा में लगभग 24 लाख छात्र 4,750 केंद्रों पर उपस्थित हुए थे। कई उम्मीदवारों ने परीक्षा में अनुचित साधनों के उपयोग का दावा किया, लेकिन इसके स्पष्ट प्रमाण नहीं मिले हैं। परीक्षा OMR शीट्स और विशिष्ट प्रश्न पुस्तिकाओं के साथ आयोजित की गई थी। कुछ सुपरिंटेंडेंट्स द्वारा OMR शीट्स से छेड़छाड़ के मामले सामने आए, जिन्हें गिरफ्तार कर लिया गया।

सुधार की दिशा में कदम

परीक्षा संचालन में सुधार के लिए सरकार ने एक उच्च स्तरीय समिति का गठन किया है। परीक्षा में सुधार के लिए कई सुझाव दिए गए हैं, जैसे ऑनलाइन परीक्षाएं, लेकिन यह भारतीय छात्रों की सुविधा और डिजिटल विभाजन के संदर्भ में व्यावहारिक नहीं हो सकता। परीक्षा संचालन में सुधार के लिए NTA को राज्य समन्वयकों की पहचान और जिला प्राधिकरणों को जिम्मेदारी सौंपनी चाहिए।

NEET परीक्षा में सुधार के सुझाव

  1. पारदर्शिता और निष्पक्षता सुनिश्चित करना: – NEET परीक्षा में पारदर्शिता और निष्पक्षता सुनिश्चित करने के लिए परीक्षा संचालन प्रक्रियाओं में सुधार आवश्यक है। इसके लिए परीक्षा केंद्रों पर कड़ी निगरानी, प्रश्न पत्र सेटिंग में सुरक्षा बढ़ाना, और डिजिटल तकनीकों का उपयोग किया जा सकता है।
  2. मल्टीपल एंट्री पॉइंट्स: – मेडिकल प्रवेश के लिए NEET के अलावा अन्य परीक्षाओं का भी आयोजन किया जाना चाहिए। इससे छात्रों को विभिन्न विकल्प मिलेंगे और एक ही परीक्षा पर अत्यधिक निर्भरता कम होगी।
  3. क्षेत्रीय भाषाओं में परीक्षा: – NEET परीक्षा को अधिक समावेशी बनाने के लिए इसे क्षेत्रीय भाषाओं में भी आयोजित किया जाना चाहिए। इससे ग्रामीण और दूरदराज के क्षेत्रों के छात्रों को भी बराबरी का मौका मिलेगा।
  4. मानसिक स्वास्थ्य समर्थन: – छात्रों के मानसिक स्वास्थ्य को ध्यान में रखते हुए, परीक्षा के समय परामर्श सेवाएँ और मानसिक स्वास्थ्य समर्थन उपलब्ध कराया जाना चाहिए। इससे छात्रों का आत्मविश्वास बढ़ेगा और वे परीक्षा के दबाव को बेहतर तरीके से संभाल सकेंगे।

निष्कर्ष

NEET परीक्षा को समाप्त करने के बजाय इसमें सुधार करना अधिक व्यावहारिक और लाभकारी है। सुधार के माध्यम से परीक्षा की पारदर्शिता, निष्पक्षता और समावेशिता को बढ़ावा दिया जा सकता है, जिससे छात्रों की समस्याओं का समाधान होगा और भारतीय चिकित्सा शिक्षा प्रणाली को मजबूत किया जा सकेगा। यह सुनिश्चित करेगा कि NEET एक न्यायपूर्ण और सक्षम प्रणाली बनी रहे, जो सभी छात्रों को समान अवसर प्रदान करे।

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